भारत सरकार ने रोजगार सृजन की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम उठाते हुए पीएम विकसित भारत रोजगार योजना (PM Viksit Bharat Rozgar Yojana – PM‑VBRY) की शुरुआत की है। यह योजना देश में औपचारिक (formal) रोजगार के अवसर बढ़ाने, विशेषकर युवाओं और महिलाओं को रोज़गार से जोड़ने तथा आर्थिक विकास को गति देने के लिए शुरू की गई है।
इस योजना की घोषणा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में हुई केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक के बाद जुलाई 2025 में की गई। यह योजना 1 अगस्त 2025 से प्रभावी होगी और इसे दो वर्षों (2025-2027) के लिए लागू किया गया है।
योजना का उद्देश्य
PM Viksit Bharat Rozgar Yojana का मुख्य उद्देश्य है:
- नए औपचारिक रोजगार के अवसरों का सृजन
- पहली बार नौकरी करने वालों को सहायता प्रदान करना
- कंपनियों को नए कर्मचारियों को नियुक्त करने के लिए वित्तीय प्रोत्साहन देना
- EPF (Employees’ Provident Fund) में कर्मचारियों की हिस्सेदारी बढ़ाना
सरकार का लक्ष्य है कि इस योजना के तहत 3.5 करोड़ नए रोजगार उत्पन्न किए जाएं, जिसमें से लगभग 1.92 करोड़ रोजगार पहली बार नौकरी करने वालों के लिए होंगे।
योजना के दो प्रमुख भाग
1. भाग A: पहली बार नौकरी करने वालों के लिए
- जिन युवाओं को पहले कभी EPF कवर नहीं मिला है, उन्हें इस योजना के अंतर्गत सहायता दी जाएगी।
- यदि वे किसी कंपनी में 6 महीने या 12 महीने तक कार्यरत रहते हैं, तो सरकार उनकी EPF सैलरी (₹15,000 तक) के अनुसार वेतन सहायता (Wage Subsidy) प्रदान करेगी।
2. भाग B: नियोक्ताओं (Employers) को प्रोत्साहन
- जो कंपनियाँ नए कर्मचारियों की भर्ती करती हैं, उन्हें प्रति कर्मचारी ₹1,000 से ₹3,000 मासिक सब्सिडी दी जाएगी।
- यदि कर्मचारी की सैलरी ₹21,000 से कम है, तो सब्सिडी का प्रतिशत बढ़ सकता है।
- निर्माण और विनिर्माण क्षेत्र की कंपनियों को अतिरिक्त प्रोत्साहन मिलेगा।
बजट और समयावधि
- कुल अनुमानित बजट: ₹99,446 करोड़
- समयावधि: 1 अगस्त 2025 से 31 जुलाई 2027 तक
- योजना के तहत कर योग्य संगठनों और कंपनियों को पात्र माना जाएगा।
किसे मिलेगा लाभ?
- 18 से 45 वर्ष की उम्र के युवक और युवतियाँ
- जो पहली बार EPF में पंजीकृत हो रहे हैं
- जिनकी मासिक सैलरी ₹21,000 से कम है
- पहले से कोई EPFO रिकॉर्ड नहीं है
- MSME, स्टार्टअप्स और निर्माण कंपनियाँ इस योजना के विशेष लाभार्थी हैं
अपेक्षित प्रभाव
- युवाओं को बड़ी संख्या में औपचारिक नौकरी मिलने की संभावना
- महिलाओं की रोजगार में भागीदारी बढ़ेगी
- नियोक्ताओं को आर्थिक सहायता मिलने से नई भर्तियों के लिए प्रोत्साहन
- EPFO का दायरा बढ़ेगा
- ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में समान रूप से रोजगार की पहुंच
सरकारी दृष्टिकोण
सरकार का मानना है कि यह योजना भारत को “विकसित राष्ट्र” की ओर ले जाने की दिशा में एक निर्णायक कदम है। यह रोजगार से अधिक, सशक्तिकरण का यंत्र है जो आत्मनिर्भर भारत के दृष्टिकोण को साकार करता है।
वित्त मंत्रालय और श्रम मंत्रालय इस योजना के सुचारु कार्यान्वयन के लिए डिजिटल पोर्टल्स और ऑनलाइन ट्रैकिंग सिस्टम विकसित कर रहे हैं ताकि पारदर्शिता बनी रहे और लाभार्थियों को समय पर सहायता मिल सके।
अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न (FAQs)
Q1. PM Viksit Bharat Rozgar Yojana की पात्रता क्या है?
उत्तर: जो युवा पहली बार औपचारिक नौकरी कर रहे हैं, जिनकी सैलरी ₹21,000 से कम है और जिनका EPFO रिकॉर्ड पहले नहीं रहा है।
Q2. कंपनियों को कैसे लाभ मिलेगा?
उत्तर: जो कंपनियाँ नए कर्मचारियों को भर्ती करेंगी, उन्हें प्रति कर्मचारी ₹1,000–₹3,000 मासिक सब्सिडी मिलेगी।
Q3. क्या यह योजना केवल निजी कंपनियों के लिए है?
उत्तर: हाँ, यह मुख्य रूप से निजी संगठनों, MSMEs और स्टार्टअप्स के लिए लागू है।
Q4. योजना का लाभ कैसे प्राप्त करें?
उत्तर: पात्र कर्मचारी और नियोक्ता EPFO पोर्टल के माध्यम से आवेदन और पंजीकरण कर सकते हैं।
Q5. क्या योजना पूरे भारत में लागू होगी?
उत्तर: हाँ, यह योजना संपूर्ण भारत में लागू की जाएगी, शहरी और ग्रामीण दोनों क्षेत्रों में।
निष्कर्ष
PM Viksit Bharat Rozgar Yojana(PM‑VBRY) भारत के युवाओं के लिए आशा की नई किरण है। यह सिर्फ एक सरकारी योजना नहीं बल्कि आर्थिक विकास, सामाजिक सुरक्षा और आत्मनिर्भरता की दिशा में ठोस पहल है। यदि यह योजना पूरी तरह से लागू होती है, तो यह भारत को वैश्विक नौकरी बाजार में प्रतिस्पर्धी बना सकती है।
अगर आप एक युवा हैं जो पहली बार नौकरी की तलाश में है या कोई नियोक्ता हैं जो नई भर्तियों की योजना बना रहा है, तो PM‑VBRY आपके लिए एक सुनहरा अवसर है। इस योजना का पूरा लाभ उठाइए और विकसित भारत के निर्माण में अपना योगदान दीजिए।